clr bada hota hai size mein aur ye r0 se start hota haiye genrally colorfull hota hai iske pass pr likha hota hai dc jack ke pass hota hai 6 gen tak ke motherboard mein clr pe voltage inject kr skte hai lid switch 3 legs ka hota hai laptop ki screen mein magnet hota hai jisse ye swich off hota hai laptop open hone ki conditiom mein ye switch dono legs mein connectivity hoti 3 volt dono sides aane chahiye ye i/o ko signal deta hai ki laptop open hai board mein bq name se jo ic hoti hai wo charging ic hoti hai is ic mein mainy 3 voltage check krni hoti hai first vcc second ac detect and last ac ok ac detect mein volt 2.2 se lekar 3 volt tak aana chahiye checking steps visual inspection rtc section vin
PISTON IN HINDI
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piston
पिस्टन क्या होता है:- पिस्टन ही इंजन में उष्मीय ऊर्जा ( HEAT ENERGY )को गतिज ऊर्जा में बदलते है पिस्टन इंजन के सिलिंडर के अंदर लगा होता है जिसका काम सिलिंडर मे ऊपर और निचे की ओर गति करना होता है ये सिलिंडर के अंदर कम्प्रेशन बनाने का काम करते है पिस्टन ही सिलिंडर में चार क्रियाओ को पूर्ण कराते है
1 ) SUCTIONN
2 ) COMPRESSION
3 ) POWER
4 ) EXHAUST
धातु(METARIAL):- इसे ही सबसे पहले तेज झटका सहन करना पड़ता है इस कारण इसे बनाते समय इसमें प्रयोग होने वाले धातु का चयन सोच समझकर किया जाता है इसे ज्यादातर ALUMINIUM ALLOY से बनाया जाता है इसमें निम्न गुण होने चाहिए :-
1)softness(मुलायम)
2)smoothness(चिकनापन)
3)elasticity(लचकदार)
4)light weight(हल्का)
5)thermal expansion(आयतन में प्रसार)
6)noise free(आवाज़ राहित)
7)rustproof(जंगरहित)
8)thermal conductivity(ऊष्मा का सुचालक)
1)crown:- पिस्टन के ऊपर के गोल हिस्से को क्राउन (crown) कहते है यही combustion chamber की गर्मी को सहन है
2)land:- कम्प्रेशन रिंग तथा आयल रिंग ग्रूव के किनारो में उठे हुए भाग को लैंड कहते है
3) oil ring and compression ring groove :-
पिस्टन में कम्प्रेशन तथा आयल स्क्रेपर रिंग को लगाने के लिए पिस्टन में ग्रूव कटे होते है
4)skirt:- पिस्टन मे गजन पिन (gudgeon pin) के निचे का पूरा हिस्सा स्कर्ट कहलाता है इसमें स्लॉट्स(slots) कटे होते है तथा हीट डैम भी बना होता है जब पिस्टन के आयतन में प्रसार होता है तो ये पिस्टन को सिलिंडर में सीज यानि जैम(jam) होने से बचाते है
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ENGINE COOLING SYSTEM IN HINDI
ENGINE COOLING SYSTEM इंजन चलने पर गर्मी (HEAT) पैदा करते है अगर इस हीट को बहार न निकला जाये तो इंजन केPISTON (SEEZ) यानि फंस जाता है क्योंकि ताप बढ़ने से (METEL) धातु के आयतन मे प्रसार होता है इससे बचने के लिए इंजिन को ठंडा रखना पड़ता है ENGINE मे दो तरह की COOLING SYSTEM होते है:- 1)WATER COOLING 2)AIR COOLING 1)WATER COOLING:- WATER COOLING के भी दो प्रकार होते है :- 1 ) बलकृत जल शीतलन प्रणाली (FORCED COOLING SYSTEM) 2 ) थर्मो साइफन प्रणाली(THERMO SYPHON COOLING SYSTEM ) इनमे से बलकृत जल शीतलन प्रणाली का प्रयोग ही ज्यादातर किया जाता है बलकृत जल शीतलन प्रणाली(FORCED COOLING SYSTEM) इसमें COOLING के लिए पानी USE किया जाता है जिसके साथ कूलेंट (COOLANT) का प्रयोग ...
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HP(horsepower) Horsepower पावर को नापने की एक इकाई है वर्तमान में हार्सपावर को यदि समझाया जाए तो इसका मतलब है कि 1 metric horsepower वह हॉर्स पावर है जो किसी 75 किलोग्राम वजन को पृथवी के गुरुत्वाकर्षण बल के विरुद्ध 1 second में 1 मीटर ऊपर उठाने में इस्तेमाल होती है 1hp=735.5watts IHP(INDICATED HORSEPOWER):- इंजन में उत्पन्न समस्त सकती को INDICATED HORSEPOWER कहते है इसे IHP द्वारा प्रदर्शित करते है BHP(BRAKE HORSEPOWER): -ENGINE की वह शाक्ति जो FLYWHEEL पर प्राप्त होती है उसे BHP कहते है FHP(FRICTION HORSEPOWER):- इंजन में लगे पार्ट्स को चलाने में घर्षण द्वारा जो शक्ति की हानि होती है इसे FHP कहते हैं
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